जनप्रवाद ब्यूरो, नई दिल्ली। रूस और यूक्रेन की जंग अब भयानक होने के साथ तीसरे विश्व युद्ध का रूप लेने लगी है। पहले रूस ने यूक्रेन पर अब तक का सबसे बड़ा हमला किया। उसने 472 ड्रोन दागे। साथ ही सात मिसाइलें भी दागीं। वहीं यूक्रेन ने पटलवार करते हुए रूस में घुसकर 40 से ज्यादा सैन्य विमान तबाह कर दिए। अब रूस यूक्रेन पर मिसाइलों से हमला करने की तैयारी में है।
रूस के ताजा हमलों पर बयान जारी
यूक्रेनी सेना ने रूस के ताजा हमलों पर बयान जारी किया है। जिसमें कहा गया है कि रूसी मिसाइल हमले में उसकी प्रशिक्षण इकाई को निशाना बनाया गया। जिसमें 12 सैनिक मारे गए और 60 से अधिक घायल हो गए। बयान में गया कि हमले के समय वहां किसी प्रकार की सैन्य परेड नहीं हो रही थी या कोई समूह एकत्र नहीं था। एक जांच समिति बनाई गई है, जो यह पता लगाएगी कि इस हमले में इतनी बड़ी संख्या में जवानों की जान कैसे गई। यह प्रशिक्षण इकाई 1,000 किलोमीटर लंबी सक्रिय युद्ध रेखा के पीछे स्थित है। बता दें कि यूक्रेन की सेना कर्मियों की कमी से जूझ रही है। वहीं, रूस के रक्षा मंत्रालय ने रदावा किया कि उसकी सेना ने यूक्रेन के उत्तरी सुमी क्षेत्र में स्थित ओलेक्सीवका गांव पर नियंत्रण पा लिया है। यूक्रेनी प्रशासन ने सुमी के 11 और इलाकों से अनिवार्य रूप से लोगों को निकालने का आदेश जारी किया है। इस क्षेत्र में रूसी सेना लगातार आगे बढ़ रही है। यूक्रेन के शीर्ष सैन्य प्रमुख ओलेक्सांद्र सिरस्की ने कहा कि रूसी सेना ने अपने मुख्य हमले डोनेत्स्क क्षेत्र के पोक्रोव्स्क, तोरेत्स्क और लाइमन के साथ-साथ सुमी बॉर्डर पर केंद्रित किए हैं।
यूक्रेन ने रूस पर किया बड़ा ड्रोन हमला
दूसरी ओर यूक्रेन ने रूस में अब तक का सबसे बड़ा ड्रोन हमला किया। यूक्रेन के ड्रोन ने रूस के अंदर घुसकर बड़ी तबाही मचाई और उसके पांच एयरबेस को निशाना बनाया। यूक्रेन ने अपने इस गुप्त अभियान को आपरेशन स्पाइडर वेब नाम दिया है। करीब डेढ़ साल की लंबी योजना के बाद यूक्रेन के हमले में रूस के 41 विमानों को निशाना बनाया गया। इसमें टीयू-95 और टीयू-22 रणनीतिक बमवर्षक और ए-50 रडार डिटेक्शन और कमांड विमान शामिल थे। अब तक इन विमानों के जरिये ही रूस ने यूक्रेन पर हमले किए हैं। बता दें कि यूक्रेन डेढ़ साल से आॅपरेशन स्पाइडर वेब की तैयारी कर रहा था। ड्रोन को कैसे और कब लॉन्च करना है, बाकायदा इसकी पूरी योजना बनाई गई। यूक्रेन के ड्रोन रूस की सीमा के अंदर चार हजार किमी तक कैसे पहुंचें, इसका भी पूरा खाका तैयार किया गया। यूक्रेन के राष्ट्रपति जेलेंस्की ने बताया कि डेढ़ साल से ज्यादा की योजना के बाद आपरेशन स्पाइडर वेब शुरू किया गया। हमने बड़े पैमाने पर किए इस हमले में 117 ड्रोन तैनात किए। इन ड्रोन ने लक्षित हवाई क्षेत्रों में क्रूज मिसाइल वाहकों के 34 प्रतिशत हिस्से को निशाना बनाया।
आपरेशन स्पाइडर वेब दिया नाम
यूक्रेन सुरक्षा सेवा यानी एसबीयू का कहना है कि आपरेशन स्पाइडर वेब के लिए ड्रोन को पहले तस्करी के जरिये ट्रक में छिपाकर रूस की सीमा के अंदर पहुंचाया गया। इन ड्रोन को ट्रकों में लकड़ी के केबिन की छत के नीचे छिपाया गया था। हमले के वक्त ट्रक की छत को खोला गया और ड्रोन ने हमले शुरू कर दिए। एसयूबी की ओर से जारी की गई तस्वीरों में परिवहन कंटेनरो में काले छोटे ड्रोन छिपे नजर आ रहे हैं। यूक्रेन ने ड्रोन ने रूस में पांच एयरबेस पर तबाही मचाई। रूस के रक्षा मंत्रालय ने बताया कि यूक्रेन ने एफपीवी ड्रोन से मरमंस्क, इरकुत्स्क, इवानोवो, रियाजान और अमूर क्षेत्रों में उसके पांच सैन्य हवाई अड्डों पर हमला किया। हमलों में उसके कई विमानों में आग लग गई।
अमेरिका के सांसदों ने जताई आशंका
अब रूस और यूक्रेन का युद्ध खतरनाक रूप लेने जा रहा है। अमेरिका के सांसदों ने कहा कि रूस के राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन शांति वार्ता में जानबूझकर देरी कर रहे हैं। वे नए हमले की तैयारी कर रहे हैं। उन्होंने चेतावनी दी कि युद्ध के भविष्य के लिए अगले दो हफ्ते निर्णायक साबित हो सकते हैं। उन्होंने यह भी कहा कि रूस की अर्थव्यवस्था पर कड़े प्रतिबंध लगाने का प्रस्ताव भी तैयार है। यूक्रेन के हमले और 40 से ज्यादा जलते हुए बमबर्षक विमानों की तस्वीरें रूस के सैन्य गौरव को चुनौती दे रही हैं। यह हमला नाटो से मिले हथियारों और खुफिया जानकारी से संभव हुआ। इसे रूस पश्चिमी हस्तक्षेप के रूप में देख रहा है। ऐसे में अब रूस छवि के इस नुकसान की भरपाई करना चाहेगा। पुतिन क्रूज मिसाइलें, हाइपरसोनिक मिसाइलों से यूक्रेन पर हमला कर सकते हैं।